Mutual funds kya hai: Mutual funds in Hindi

 

 

Mutual funds में निवेश से पहले ये जान लेना बहुत ही जरुरी है की आखिर mutual funds kya hai इसके बाद हम आपको ये भी बतायेंगे की mutual fund में निवेश कैसे करें. तो आइये जानते है की mutual funds kya hai

Mutual funds kya hai: Mutual Fund Kya Hai in Hindi

Mutual funds चलाने वाली कंपनियाँ आम निवेशकों से पैसा ले कर इस पैसे को share market में निवेश करती है. इसके साथ वो fund को manage करने का चार्ज भी करती है mutual funds में निवेश करने वालो से

अगर आप share market के बारे में बहुत अधिक नहीं जानते या आप share market में निवेश करने से डरते है तो ऐसे में mutual funds आपके लिए एक अच्छा विकल्प हो सकता है

क्युकी एक तो इसमें share market की तुलना में कम risk होता है और share market में आपको खुद फ़ासले लेने होते है वही mutual funds को professional mutual funds मैनेजर handle करते है जो share market और investment industry की अच्छी समझ रखते है

History of Mutual Funds

भारत सरकार ने reserve bank of India के साथ मिलकर UTI (unit trust of India) का गठन किया था जिसके कारण भारत में 1963 में mutual fund की शुरु वात हुई थी

इसको इसलिए शुरू किया गया था ताकि छोटे निवेशकों को भी बाज़ार में निवेश करने का अवसर मिले

  • First Phase (1964-1987)

1963 में इसकी स्थापना Reserve bank of India द्वारा की गयी थी और शुरु वात में mutual funds, RBI ( Reserve bank of India ) के under ही काम करता था जिसे बाद में 1978 में Reserve bank of India से अलग कर दिया गया

इसके बाद IDBI ( Industrial development bank of India ) को इसका विनियामक और प्रशासनिक नियन्त्रण दे दिया गया इसके बाद UTI ने इसके under काम करना शुरू कर दिया

1963 से 1987 तक UTI के पास 6700 करोड़ से ज्यादा का fund आ चूका था

  • Second Phase (1987-1993)

1987 के बाद सरकार ने public sector को भी mutual fund बनाने की अनुमति दे दी जिसके बाद mutual funds में बहुत सारे बैंक की entry हुई. 1987 के बाद public sector bank, Life insurance corporation of India और भी कई public sector banks की mutual funds में entry हुई . इस दूसरे phase में mutual funds industry का जो कुल asset under management था वो 47004 करोड़ तक जा पहुंचा था

  • Third phase (1993-2003)

१९९३ में सरकार ने mutual funds में प्राइवेट sector को आने की अनुमति दे दी जिसके बाद बहुत से प्राइवेट sector की कंपनी ने नए-नए mutual funds की स्थापना की जिससे 2003 के अंत तक mutual funds का asset under management 121805 करोड़ तक जा पहुंचा

  • Fourth phase (2003 – till now)

इस समय कुछ mergers और acquisitions हो रहे है और भारतीय mutual funds industry लगातार grow कर रही है

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How to invest in mutual funds | mutual fund mein nivesh kaise kare

तो चलिए बात करते है की mutual funds में कैसे invest कर सकते है या How to invest in mutual funds. Mutual fund में निवेश करना बहुत ही आसान है और Digital India होने के बाद जब सब चीज़ें online हो रही है तो mutual funds में भी आप बहुत आसानी से बिना कही जाये invest कर सकते है

तो mutual funds में निवेश करने के लिए आप उस mutual fund की website पर सीधे जाकर निवेश कर सकते है इसके अलावा आप किसी mutual funds adviser की भी मदद ले सकते है. इसके साथ अगर आप online mutual fund में invest नहीं कर सकते तो आप उस mutual funds के ऑफिस में जाकर भी निवेश कर सकते है

जब आप सीधे mutual funds में निवेश करते है तो आप mutual fund scheme के direct plan में निवेश कर सकते है मगर जब आप किसी adviser से मदद लेते है तो आप regular plan में निवेश करते है

Direct plan में निवेश करने पर आपको commission नहीं देना पड़ता. पर चुकी आप adviser की मदद नहीं लेते तो आपको mutual funds से संबंधित research खुद ही करनी पड़ती है

इस सब के अलावा mutual funds में invest करने के लिए market में बहुत सी android app भी मौजूद है जैसे grow app, paytmoney, mycams, IPRUTtouch, InvesTap. आप इन apps की मदद से भी mutual funds में invest कर सकते है

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Mutual Funds के प्रकार | types of mutual funds

  • Equity mutual fund
  • Debt mutual fund
  • Solution oriented mutual fund
  • Hybrid mutual fund
  • Equity Mutual funds-

Equity mutual funds में निवेशकों के पैसे को share market या shares में invest किया जाता है. अगर आप लम्बी अवधि में अधिक लाभ या return कमाना चाहते है तो आप इस fund में निवेश कर सकते है छोटी अवधि के लिए इसमें निवेश करना जोखिम भरा हो सकता है. अगर आप 10 साल या उससे भी अधिक समय के लिए निवेश कर रहे है तो आप equity mutual fund के बारे में सोच सकते है. Equity mutual funds में भी आगे अलग category होती है mutual fund scheme के 10 अलग प्रकार होते है

  • Debt Mutual Fund

Debt mutual fund में निवेशकों का पैसा debt securities में invest किया जाता है अगर आपका आप छोटी अवधि के लिए निवेश करना चाहते है जैसे 5 साल से कम तो आप debt mutual fund में कर सकते है. यहाँ equity mutual funds से कम जोखिम होता है लेकिन bank fixed deposit से अधिक return मिलता है तो ऐसे में अगर आप कम जोखिम और छोटी अवधि के लिए निवेश करना चाहते है तो आप इस तरह के mutual fund में निवेश कर सकते है

  • Solution oriented mutual fund

इस scheme में आपको 5 साल के लिए निवेश करना जरूरी होता है और जैसा की नाम से ही प्रतीत होता है इस fund का निर्माण किसी खास वितीय उद्देश्य की पूर्ति के लिए किया गया है. जैसे अगर आप का निवेश करने का लक्ष्य आपने बच्चों की शिक्षा हो या आप रिटायरमेंट scheme के लिए निवेश करना चाह रहे हो तो. ऐसे उदेश्यों की पूर्ति हेतु आप solution oriented mutual fund का चुनाव कर सकते है

  • Hybrid mutual fund

इस प्रकार के mutual funds में निवेशकों का पैसा debt और equity में निवेश किया जाता है. Hybrid mutual funds की भी आगे 6 प्रकार है

इसके अलावा mutual funds के संरचना के आधार पर भी प्रकार हो सकते है

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संरचना के आधार पर mutual funds तीन प्रकार के हो सकते है

  • Open ended mutual fund

ये funds निवेशको को तरलता (liquidity ) प्रदान करते है इस आप कभी भी बेच या खरीद सकते है. इसको बेचने या खरीदने की कोई भी date fix नहीं होती. ऐसे में आप कभी इनको बीच कर अपना धन निकाल सकते है

  • Close ended mutual funds

Close ended mutual funds वो open ended mutual funds से अलग होते है ये fixed होते है और सिमित मात्र में ही बेचे जाते है और एक बार NFO (new fund offer) period पूरा होने के बाद कोई निवेशक इनको नहीं खरीद सकता जबकि open ended funds में ऐसा नहीं है

  • Interval funds

ये open ended और close ended funds को मिलकर बनाया होता है इसमें दोनों funds के कुछ features होते है. इसमें निवेशक pre fixed interval पर mutual funds की trading कर सकते है

Mutual funds charges mutual funds फीस

Mutual funds को manage करने के दौरान होने वाले खर्चे को expense ratio कहते है. Expense ratio की मदद से आप यहां जान सकते है की mutual fund को manage करने का क्या खर्च आता है

Mutual Funds निवेश में अकसर इस्तेमाल किये जाने वाले शब्द | mutual funds terminology

  • Fund Manager या portfolio manager

आप जिस भी mutual fund में निवेश करते है उस fund को जो manage करता है या यु कहे की जो उसका प्रबंधन करता है उसको portfolio manager कहते है. एक portfolio manager को कई तरह के निर्णय लेने पड़ते है ये निर्णय बहुत ही महत्वपूर्ण होते है इन्हीं निर्णयों पर आपके निवेश का भविष्य निर्भर करता है

  • Adjusted NAV or total return

NAV यानी net asset value इसका मतलब होता है की आपके निवेश की वर्तमान में asset value कितनी है. जैसे की अगर आप ने किसी fund में मान लीजिये 10 रुपए का निवेश किया है तो उस की net asset value अभी के समय में जो होती उसकी को NAV कहते है ये कीमत कम भी हो सकती है और ज्यादा भी यानी आपके 10 रुपए ११ भी हो सकते है और 9 भी

  • Assets management company

ये वो company होती है जो बाज़ार में अलग प्रकार के mutual funds scheme ले कर आती है कुछ popular asset management company के बारे में हमने आपको इस article में बताया भी है

  • Load

ये वो शुल्क होता है जो एक mutual fund निवेशक को देना पड़ता है. Load दो तरह के होते है एक होता है entry load दूसरा होता है exit load.

Entry load आपको तब देना पड़ता है जब आप mutual fund को buy करते है या mutual fund में निवेश करते है और exit load आप तब देते है जब आप mutual fund से exit करते है

  • Asset under management (AUM).

ये वो कुल amount होता है जो की निवेश किया गया है. ये घटता बढ़ता रहता है. क्युकी लोग किसी mutual fund में निवेश करते है और निवेश निकलते रहते है

  • SIP

SIP की full form होती है systematic investment plan. SIP आपको छोटा निवेश करने का अवसर देता है. SIP में आप monthly, तिमाही, छमाही या सालाना निवेश कर सकते है

  • Portfolio

Fund द्वारा अलग-अलग जगह किया हुआ निवेश मिलकर portfolio बनता है जिन विभिन्न कंपनी या sector में निवेश किया गया है mutual fund द्वारा उन्हीं सब को मिला कर portfolio बनता है

  • NFO

NFO की full form होती है new fund offer ये mutual fund के वो नए offer होते है जिनकी face value 10 रुपए होती है

  • Unit

Mutual fund में जो कुल राशि होती है उसके एक अविभाजित भाग को unit के नाम से जाना जाता है और mutual funds में आपको ये शब्द सबसे ज्यादा सुनने को मिलेगा

Some popular Mutual funds in India

  • Axis asset management company
  • Birla sun life asset management company
  • DHLF pramerica asset management company
  • Baroda pioneer assest management company
  • BNP Paribas asset management company
  • HDFC asset management company
  • इसके अलावा भी बहुत से popular mutual funds है India में

Benefits of investing in mutual funds | mutual funds में निवेश के लाभ

Mutual funds में invest करने के कई फायदे है जिन में कुछ फायदों की चर्चा हम यहाँ करेंगे

  • अगर आप सुरक्षित निवेश करना चाहते है तो आपको अपना सारा पैसा एक जगह पर न लगा कर अलग-अलग जगहों पर लगाना चाहिये. Mutual funds में भी इसी सिद्धांत का पालन किया जाता है और investment को diversify किया जाता है ऐसे में निवेश सुरक्षित रहता है
  • Mutual funds को professional investors manage करते है जिन्हें fund managers भी कहा जाता है तो ऐसे में थोड़ी से फीस देकर जो की mutual fund में ही included होती है आप professional investor की जानकारी का लाभ ले सकते है
  • Mutual funds कई तरह के होते है ऐसे में आपका investment goal कुछ भी हो आप के लिए आपके investment goals के हिसाब से mutual fund जरूर मिलेगा. जैसे अगर आप अधिक return चाहते है या कम return मगर सुरक्षित निवेश चाहते है. या इसके अलावा आपका कोई और investment goal है तो भी आपके लिए कोई न कोई mutual fund तो जरूर मिलेगा
  • ये एक बहुत ही सुविधाजनक तरीका है निवेश का mutual funds में निवेश करने के बहुत अधिक technical जानकारी नहीं होनी चाहिये. इसके अलावा आप बहुत कम रकम से भी mutual funds में निवेश शुरू कर सकते है और जरूरी नहीं की आप online ही mutual funds buy करें. आप offline भी mutual funds को buy कर सकते है. तो ऐसे में काफी विकल्प होने की वजह से हम कह सकते है ये निवेश करने का एक बहुत ही सुविधाजनक तरीका है
  • Mutual funds में आपको tax पर छुट मिलती है और कुछ अवधि तक आपको मुनाफे पर कोई tax नहीं देना पड़ता. जिसके कारण mutual funds में निवेश करना popular होता जा रहा है
  • बहुत से company share market में ऐसी है जिन के shares की कीमत बहुत ही ज्यादा है ऐसे में अगर बहुत कम monthly निवेश करना चाहते है तो आप उन कंपनी के shares buy नहीं कर सकते. जबकि की किसी mutual fund में बहुत सारे लोगों का पैसा लगा होता है तो ऐसे में mutual funds के लिए कम budget कोई समस्या नहीं है. और fund मैनेजर बहुत ही आसानी से किसी भी company के shares buy कर सकता है mutual fund के portfolio में add कर सकते है

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Conclusion

तो दोस्तों आपने जाना की mutual funds kya hai, History of Mutual Funds, How to invest in mutual funds and types of mutual funds इसके अलावा भी हमने आपको mutual funds से related काफी जानकारी दी. हलांकि दोस्तों ऐसा बिलकुल नहीं है की mutual fund बिलकुल ही risk free हो. Mutual funds में भी थोडा बहुत risk तो रहता ही है. आप को mutual fund की ads या website में ये disclaimer जरूर मिलेगा की “mutual funds are subjected to market risk please read all the schemes related documents carefully” तो ऐसे में हम भी आपको ये ही सलाह देंगे की किसी भी mutual fund में निवेश से पहले उसके बारे में पूरी तरह से जानकारी प्राप्त कर ले.

 

 

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